महावीर आरती

महावीर आरती

॥ श्री महावीर आरती ॥

जय महावीर प्रभो!, स्वामी जय महावीर प्रभो!।

जगनायक सुखदायक, अति गम्भीर प्रभो॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

कुण्डलपुर में जन्में, त्रिशला के जाये।

पिता सिद्धार्थ राजा, सुर नर हर्षाए॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

दीनानाथ दयानिधि, हैं मंगलकारी।

जगहित संयम धारा, प्रभु परउपकारी॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

पापाचार मिटाया, सत्पथ दिखलाया।

दयाधर्म का झण्डा, जग में लहराया॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

अर्जुनमाली गौतम, श्री चन्दनबाला।

पार जगत से बेड़ा, इनका कर डाला॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

पावन नाम तुम्हारा, जगतारणहारा।

निसिदिन जो नर ध्यावे, कष्ट मिटे सारा॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

करुणासागर! तेरी, महिमा है न्यारी।

ज्ञानमुनि गुण गावे, चरणन बलिहारी॥

ॐ जय महावीर प्रभु।

आज का ज्योतिषीय विचार

“कर्म और ग्रह दोनों जीवन को गढ़ते हैं।”

— पंडित जगन्नाथ